निसर्ग साइक्लोन को लेकर अलर्ट पर भारतीय रेलवे, रद्द हो सकती है कुछ ट्रेनें
Railways on alert for Nisarga Cyclone: पश्चिम रेलवे (डब्ल्यूआर) और सेंट्रल रेलवे (सीआर) के मुंबई डिवीजनों ने निसर्ग चक्रवात को ध्यान में रखते हुए इसके प्रभाव वाली शहरो में कई सावधानियां बरती हैं। हालांकि, अभी तक कोई भी ट्रेन रद्द नहीं की गई है। रेलवे अधिकारियों ने कहा कि वे स्थिति की बारीकी से निगरानी कर रहे थे और यदि आवश्यकता हुई तो रेलगाड़ियों को रदद् या इस चक्रवात के प्रभाव वाली गाड़ियों को दूसरे रूट से परिचालन का काम करेंगे। पश्चिमी रेलवे द्वारा निर्धारित प्रोटोकॉल के अनुसार, जो ट्रेनें मुंबई से गुजरात तट के समानांतर चलती है, उन ट्रेनों को तब तक संचालित करने की अनुमति दी जाएगी जब तक कि हवा की गति 72 किमी प्रति घंटे के नीचे रहती है।
निसर्ग साइक्लोन ने बदला इन ट्रेनों का शेड्यूल
एनीमोमीटर की मदद से हवा की गति पर रखी जा रही है नजर
वेस्टर्न रेलवे (Western Railway) के वरिष्ठ अधिकारियों ने कहा कि भायंदर और वैतरण स्टेशन पर दो एनीमोमीटर का उपयोग करके हवा की गति पर नजर रखी जा रही है, जिन्हें कैलिब्रेट किया गया था और लगातार निगरानी की जा रही थी। वेस्टर्न रेलवे के एक वरिष्ठ अधिकारी ने नाम न छापने की शर्त पर कहा एक बार एनेमोमीटर 72 किलोमीटर प्रति घंटे की गति से हवा की गति दर्ज कर देगा, तो नियंत्रण को सूचित किया जाएगा और ट्रेन संचालन रोक दिया जाएगा।
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इन ट्रेनों को निसर्ग साइक्लोन के कारण किया गया डाइवर्ट
निसारगा चक्रवात से उत्पन्न किसी भी चुनौती से निपटने के लिए रेलवे तैयार
रेल अधिकारी ने कहा की सभी बारिश के गेजों की भी जांच की गई है और उन पर लगातार नजर रखी जा रही है। मुख्य जनसंपर्क अधिकारी, डब्ल्यूआर, रविंदर भाकर, ने कहा कि वे भारतीय मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) और अन्य नागरिक एजेंसियों के लगातार संपर्क में है। “हम स्थिति पर करीब से नजर रख रहे हैं”। उन्होंने कहा कि, “हमारे पास किसी भी घटना के बारे में सचेत करने के लिए हमारे पास गश्त करने वाले कर्मचारी हैं”।
लोको पायलटों के साथ लगातार संपर्क में भारतीय रेलवे
सेंट्रल रेलवे के अधिकारियों ने कहा कि वे अपने लोको पायलटों के साथ लगातार संपर्क में रहेंगे और उनके फैसले के आधार पर कॉल करेंगे कि ट्रेन चलती रहे या नहीं। मुंबई डिवीजन, सीआर मंडल के रेल प्रबंधक शलभ गोयल ने कहा कि इन परिस्थितियों में निर्णय मौजुदा समय में उत्पन चुनौतियों के आधार पर लेने होंगे और एहतियात के तौर पर उन्होंने बुधवार को केवल अत्यंत महत्वपूर्ण कर्मचारियों को बुलाया था।
रेलवे ने प्रभाव वाले इलाके में शुरू किया निरक्षण का काम
दोनों रेलवे जोन ने प्रमुख क्षेत्रों में कर्मचारियों को भी तैनात किया है और यह सुनिश्चित करने के लिए पटरियों से सटे सभी क्षेत्रों का निरीक्षण किया है ताकि यह सुनिश्चित हो सके कि ढीले तिरपाल शीट या मचान नहीं हैं जो उच्च हवा की गति के तहत ढीले पड़ सकते हैं। पटरियों पर पेड़ों के गिरने या ओवरहेड उपकरणों को नुकसान पहुंचाने की स्थिति में आवश्यक पेड़ काटने वाली मशीनरी के साथ कर्मचारियों को भी तैनात किया गया है।